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Smoking 2024 : धूम्रपान करना महिलाओं के लिए सबसे ज्यादा खतरनाक है जानिए कैसे

Smoking : आज के समय में कई लड़कियां व महिलाएं धूम्रपान करने से पीछे नहीं है। वैसे तो धूम्रपान और तंबाकू का दुष्परिणाम पुरुषों और महिलाओं को दोनों को होता है। लेकिन धूम्रपान महिलाओं के हार्मोन और शरीर को पुरुषों की अपेक्षा ज्यादा नुकसान पहुंचता है । ऐसी महिलाएं और लड़कियां जिन्होंने धूम्रपान को अपनी जानी जीवन शैली का अंग बना लिया है। उन्हें वर्तमान के साथ-साथ भविष्य में भी कई तरीके की स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का सामना करना पड़ता है।

Smoking : धूम्रपान की लत कैंसर जैसी गंभीर समस्याओं को बढ़ाने में मदद करता है। यह महिलाओं में पाए जाने वाले विशेष प्रकार के हारमोंस को नुकसान पहुंचता है। यह लत आज की युवा पीढ़ी को काफी प्रभावित कर रहा है।आईए जानते हैं इसके दुष्परिणाम….

Smoking : धूम्रपान का हार्मोन पर असर

Smoking : महिलाओं द्वारा धूम्रपान करने से उनमें हार्मोनल बदलाव व अनुवांशिक नुकसान अधिकतम देखने को मिल जाते हैं। जिन महिलाओं को धूम्रपान की लत होती है, उनमें अधिकांश पीसीओडी, पीसी ओ एम और पीरियड का अनियमित होना और फर्टिलिटी में कमी आना ऐसे लक्षण दिखाई देते हैं। कई महिलाओं को अधिकतम धूम्रपान करने से बांझपन का खतरा भी उत्पन्न होने लगता है। धूम्रपान की लत वाली महिलाओं के मासिक धर्म में दर्द की संभावना 40 से 50% तक बढ़ जाती है।

Smoking : धूम्रपान से भविष्य की समस्याएं

Smoking : जीनत किशोरियों ने शौक शौक में धूम्रपान को अपनी जीवन शैली की लत बना ली है। उन्हें आगे चलकर प्रजनन और अंडाणुओं की गुणवत्ता कम होने का खतरा बना देता है। दरअसल सिगरेट में पाई जाने वाली निकोटिन, फैलोपियन ट्यूब की कार्य पद्धति को बिगाड़ने में अहम भूमिका निभाती है। जिसकी वजह से ऐसी समस्याए उत्पन्न होती हैं। यदि महिलाएं गर्भधारण करती हैं, तो उनके बच्चों को जन्मजात बीमारियां हो सकती हैं। धूमपान करने से गर्भ में पल रहे बच्चे पर भी गहरा प्रभाव पड़ता है। जिसकी वजह से गर्भाशय में बच्चों को विकृतिया हो सकती हैं।

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Smoking : धूम्रपान से कैंसर का जोखिम

Smoking : वैसे तो धूम्रपान में पुरुषों और महिलाओं दोनों को कई प्रकार के कैंसर से जोखिम में डाल सकता है। लेकिन यह महिलाओं के गर्भाशय में ग्रीवा के कैंसर के जोखिम को कई गुना बढ़ाने में अहम भूमिका निभाता है। धूम्रपान करने वाली महिलाओं के फेफड़े का कैंसर होने की आशंका पुरुषों की अपेक्षा ज्यादा पाई जाती है। इसके अतिरिक्त स्तन कैंसर का जोखिम भी बढ़ता है।

Smoking : जल्दी बुढ़ापा आना

Smoking : जो महिलाएं सबसे ज्यादा धूम्रपान करती हैं। इसका असर सबसे ज्यादा उनके चेहरे पर पड़ता है। जिससे उनके चेहरे पर झुर्रियां नजर आने लगते हैं। और वह समय से पहले बुड्ढी दिखाई देने लगती है। उनके शरीर की त्वचा का रंग भी बदल जाता है। होठों में काले काले कलर की लकीरें बन जाती है। उनकी त्वचा ढीली पड़ने लगती है। दांत व मसूड़े भी खराब हो जाते हैं। इसके अलावा महिलाओं में ऑस्टियोपोरोसिस का खतरा सबसे ज्यादा बनने लगता है। जिससे उनकी हड्डियां कमजोर होने लगती हैं।

Smoking : गर्भधारण करने में समस्या

Smoking : धूमपान करने वाली महिलाओं के गर्भ में पलने वाले शिशु में अनेक प्रकार के खतरे उत्पन्न होने की संभावना बहुत ज्यादा बढ़ जाती हैं । जिसमें गर्भाशय से ही बच्चों में हृदय रोग जैसी समस्याएं आने लगती हैं। धूमपान करने वाली महिलाओं में मोनोपोज समय से पहले आ सकता है। ऐसा इसलिए होता है, क्योंकि धूम्रपान की वजह से उनके अंडाशय में नुकसान होने लगता है। और परिणाम स्वरूप हार्मोन की उत्पत्ति कम हो जाती है।

निष्कर्ष

Smoking : धूम्रपान करना शरीर व स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होता है। इसका असर सबसे ज्यादा महिलाओं पर पड़ता है। जो न सिर्फ उनके वर्तमान की समस्या उत्पन्न करती हैं बल्कि उन्हें भविष्य में आने वाली समस्याओं को भी जन्म देती है। अतः धूम्रपान को छोड़ना बहुत आवश्यक है।

अक्सर पूछे जाने वाले महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तर

प्रश्न- लड़कियों को धूम्रपान क्यों नहीं करना चाहिए?

उत्तर- Smoking : जीनत किशोरियों ने शौक शौक में धूम्रपान को अपनी जीवन शैली की लत बना ली है। उन्हें आगे चलकर प्रजनन और अंडाणुओं की गुणवत्ता कम होने का खतरा बना देता है। दरअसल सिगरेट में पाई जाने वाली निकोटिन, फैलोपियन ट्यूब की कार्य पद्धति को बिगाड़ने में अहम भूमिका निभाती है। जिसकी वजह से ऐसी समस्याए उत्पन्न होती हैं। यदि महिलाएं गर्भधारण करती हैं, तो उनके बच्चों को जन्मजात बीमारियां हो सकती हैं। धूमपान करने से गर्भ में पल रहे बच्चे पर भी गहरा प्रभाव पड़ता है। जिसकी वजह से गर्भाशय में बच्चों को विकृतिया हो सकती हैं।

प्रश्न- ज्यादा धूम्रपान करने से क्या होता है?

उत्तर- जो महिलाएं सबसे ज्यादा धूम्रपान करती हैं। इसका असर सबसे ज्यादा उनके चेहरे पर पड़ता है। जिससे उनके चेहरे पर झुर्रियां नजर आने लगते हैं। और वह समय से पहले बुड्ढी दिखाई देने लगती है। उनके शरीर की त्वचा का रंग भी बदल जाता है। होठों में काले काले कलर की लकीरें बन जाती है। उनकी त्वचा ढीली पड़ने लगती है। दांत व मसूड़े भी खराब हो जाते हैं। इसके अलावा महिलाओं में ऑस्टियोपोरोसिस का खतरा सबसे ज्यादा बनने लगता है। जिससे उनकी हड्डियां कमजोर होने लगती हैं।

प्रश्न- अगर औरत धूम्रपान करती है तो क्या होता है?

उत्तर-  महिलाओं द्वारा धूम्रपान करने से उनमें हार्मोनल बदलाव व अनुवांशिक नुकसान अधिकतम देखने को मिल जाते हैं। जिन महिलाओं को धूम्रपान की लत होती है, उनमें अधिकांश पीसीओडी, पीसी ओ एम और पीरियड का अनियमित होना और फर्टिलिटी में कमी आना ऐसे लक्षण दिखाई देते हैं। कई महिलाओं को अधिकतम धूम्रपान करने से बांझपन का खतरा भी उत्पन्न होने लगता है। धूम्रपान की लत वाली महिलाओं के मासिक धर्म में दर्द की संभावना 40 से 50% तक बढ़ जाती है।

प्रश्न- लड़कियां सिगरेट क्यों पीती हैं?

उत्तर- आज के समय में कई लड़कियां व महिलाएं धूम्रपान करने से पीछे नहीं है। वैसे तो धूम्रपान और तंबाकू का दुष्परिणाम पुरुषों और महिलाओं को दोनों को होता है। लेकिन धूम्रपान महिलाओं के हार्मोन और शरीर को पुरुषों की अपेक्षा ज्यादा नुकसान पहुंचता है । ऐसी महिलाएं और लड़कियां जिन्होंने धूम्रपान को अपनी जानी जीवन शैली का अंग बना लिया है। उन्हें वर्तमान के साथ-साथ भविष्य में भी कई तरीके की स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का सामना करना पड़ता है।

प्रश्न- क्या औरत के लिए धूम्रपान करना अच्छा है?

उत्तर- वैसे तो धूम्रपान में पुरुषों और महिलाओं दोनों को कई प्रकार के कैंसर से जोखिम में डाल सकता है। लेकिन यह महिलाओं के गर्भाशय में ग्रीवा के कैंसर के जोखिम को कई गुना बढ़ाने में अहम भूमिका निभाता है। धूम्रपान करने वाली महिलाओं के फेफड़े का कैंसर होने की आशंका पुरुषों की अपेक्षा ज्यादा पाई जाती है। इसके अतिरिक्त स्तन कैंसर का जोखिम भी बढ़ता है।उत्तर- 

प्रश्न- क्या धूम्रपान करने से पीरियड का दर्द बढ़ता है?

उत्तर- धूमपान करने वाली महिलाओं के गर्भ में पलने वाले शिशु में अनेक प्रकार के खतरे उत्पन्न होने की संभावना बहुत ज्यादा बढ़ जाती हैं । जिसमें गर्भाशय से ही बच्चों में हृदय रोग जैसी समस्याएं आने लगती हैं। धूमपान करने वाली महिलाओं में मोनोपोज समय से पहले आ सकता है। ऐसा इसलिए होता है, क्योंकि धूम्रपान की वजह से उनके अंडाशय में नुकसान होने लगता है। और परिणाम स्वरूप हार्मोन की उत्पत्ति कम हो जाती है।

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20 COMMENTS

  1. Pink Withney naturally like your web site however you need to take a look at the spelling on several of your posts. A number of them are rife with spelling problems and I find it very bothersome to tell the truth on the other hand I will surely come again again.

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